
भोंपूराम खबरी,रुद्रपुर। जनपद उधम सिंह नगर के जिला मुख्यालय रुद्रपुर में स्थित कल्याणी नदी में शनिवार को अचानक खतरनाक केमिकल बहने से हड़कंप मच गया। यह वही नदी है जिसे शहर की जीवन रेखा कहा जाता है और जहां हर वर्ष छठ पूजा जैसे पवित्र आयोजन संपन्न होते हैं। छठ पर्व से ठीक एक दिन पूर्व नदी की सतह पर सफेद झाग और केमिकल की मोटी परत दिखाई दी, जिससे पूरा जलक्षेत्र प्रदूषित हो गया और स्थानीय श्रद्धालुओं के साथ-साथ प्रशासन के भी होश उड़ गए।


सूत्रों के अनुसार, पंतनगर सिडकुल क्षेत्र में स्थित किसी उद्योग इकाई से अज्ञात रासायनिक पदार्थ का रिसाव हुआ है, जो बहते हुए कल्याणी नदी तक पहुंच गया। इस जहरीले रिसाव से नदी का जल पूरी तरह दूषित हो गया, जिसके कारण नदी में रहने वाली मछलियाँ और अन्य जलीय जीव तड़प-तड़प कर मरने लगे। देखते ही देखते सैकड़ों मछलियाँ किनारे पर आ गईं, जिससे आसपास के क्षेत्रों में दुर्गंध फैल गई और स्थानीय लोग भयभीत हो उठे।
छठ पूजा की तैयारियों में जुटे श्रद्धालुओं और नगर निगम की टीम के लिए यह दृश्य किसी झटके से कम नहीं था। नगर निगम पिछले कई दिनों से घाटों की साफ-सफाई और पूजा व्यवस्थाओं में जुटा था, लेकिन अचानक इस घटना ने सारी तैयारियों पर पानी फेर दिया। दूषित जल के कारण अब यह बड़ा सवाल खड़ा हो गया है कि श्रद्धालु इस जहरीले पानी में आस्था का पर्व कैसे मनाएंगे।
स्थानीय निवासियों ने प्रशासन से इस गंभीर घटना की निष्पक्ष जांच और दोषी उद्योगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है। उनका कहना है कि यह केवल पर्यावरण प्रदूषण का मामला नहीं, बल्कि जनता की आस्था और जीवन से सीधा जुड़ा मुद्दा है। कल्याणी नदी से न केवल जलीय जीवों का जीवन प्रभावित हुआ है, बल्कि इसके जल पर निर्भर आवारा पशु और गोवंश के अस्तित्व पर भी संकट मंडरा रहा है।
नगर निगम और जिला प्रशासन ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच के आदेश जारी कर दिए हैं। प्रदूषित जल के नमूने एकत्र कर प्रयोगशाला परीक्षण के लिए भेजे जा रहे हैं। प्रशासनिक अधिकारियों का कहना है कि दोषियों की पहचान होते ही उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। वहीं, श्रद्धालु और स्थानीय लोग अब भी इस दुविधा में हैं कि क्या कल्याणी नदी का जल आस्था के पवित्र पर्व छठ के लिए उपयोग योग्य रह गया है या नहीं।


