भौंपूराम खबरी, रुद्रपुर। जिला पंचायत की बैठक में मंगलवार को बवाल हो गया। राजकीय मेडिकल कॉलेज का नाम बदलकर सरदार वल्लभ भाई पटेल के नाम पर रखने का प्रस्ताव पारित होने की सूचना मिलने पर किच्छा विधायक राजेश शुक्ला बिना बुलाये ही बैठक स्थल पहुँच गये। यहाँ पहले से मौजूद शिक्षा व पंचायती राज मंत्री अरविंद पांडेय के प्रतिनिधि सुरेश गंगवार और विधायक शुक्ला इस मामले को लेकर आमने-सामने हो गये। दोनों के बीच तीखी बहस हुई जिसके बाद शुक्ला मामले को भाजपा हाईकमान के समक्ष रखने की चेतावनी देते हुए वहां से चले गये।
दरअसल जिला पंचायत बोर्ड की बैठक में अध्यक्षा रेनू गंगवार ने बोर्ड के समक्ष रुद्रपुर में निर्माणाधीन मेडिकल कॉलेज का नाम देश के प्रथम उप प्रधानमंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल के नाम रहने का प्रस्ताव दिया जिसे सदन ने ध्वनि मत से पारित कर दिया। बोर्ड की बैठक में यद्यपि विधायकों को आमंत्रित नहीं किया गया था लेकिन इस प्रस्ताव की भनक लगने पर विधायक शुक्ला बैठक में पहुंच गए। उन्होंने इस प्रस्ताव पर आपत्ति जताते हुए कहा कि राजकीय मेडिकल कॉलेज नगर निगम क्षेत्र में है और सरकार ने तराई को बसाने में अहम योगदान देने वाले स्वतंत्रता संग्राम सेनानी पंडित रामसुमेर शुक्ल के नाम पर रखा है। इस पर मंत्री प्रतिनिधि व जिला पंचायत अध्यक्षा के पति सुरेश गंगवार ने कहा कि स्वर्गीय शुक्ल का सब सम्मान करते हैं और उनके नाम पर पूर्व में ही चौराहे पर प्रतिमा व पार्क है। लेकिन सदन की मांग पर राजकीय मेडिकल कॉलेज का नाम देश के गृह मंत्री भी रहे लौह पुरुष सरदार पटेल के नाम पर रखा जाए। सदन ने इसका प्रस्ताव पारित कर दिया है, जिसे सरकार को भेजा जाएगा।
इस दौरान विधायक ने बरा इंटर कॉलेज के नाम को लेकर सवाल उठाया, जिस पर गंगवार ने कहा कि कॉलेज का नाम बदल कर किसी महापुरुष के नाम पर रख दिया जाए उन्हें कोई आपत्ति नहीं है। ज्ञात हो कि बरा इंटर कॉलेज का नाम सुरेश गंगवार के स्मृति शेष भाई के नाम पर है। इस दौरान दोनों न नेताओं के बीच तीखी नोंक-झोंक भी हुई। विधायक से कहा गया कि जब विधायकों को बैठक में बुलाया ही नहीं गया तो उनके आने का औचित्य नहीं है।
बैठक के बाद विधायक शुक्ल ने कहा कि एक षड्यंत्र के तहत विधायकों को बैठक में नहीं बुलाया गया। उन्हें जब पता लगा तो वह बैठक में पहुंच गए। कहा कि जिला पंचायत में पारित प्रस्ताव शहीद व स्वतंत्रता सेनानियों का अपमान है। जिला पंचायत को इस तरह का प्रस्ताव पारित करने का अधिकार नहीं है। यह उनकी बुद्धिहीनता का परिचायक है, क्योंकि उन्होंने सरदार पटेल को विवाद में डाला है। वह उचित फोरम पर अपनी बात रखेंगे। उधर, गंगवार ने कहा कि शुक्ला ने सरदार पटेल का अपमान किया है। सदन ने उनके नाम पर राजकीय मेडिकल कॉलेज का नाम रखने का प्रस्ताव पारित किया है। सरकार को यह तय करना है। उन्होंने कहा कि जिला पंचायत पूरे जिले की होती है।