भोंपूराम खबरी। स्कूटी खरीदने की जलन के मारे एक व्यक्ति ने पड़ोसी के घर को आग के हवाले कर डाला। ये घटना उत्तराखंड के बागेश्वर जिले के गरुड़ तहसील स्थित रणकुंणी गांव में बीते 29 अक्तूबर को धनतेरस के दिन घटी है। रणकुणी गांव में धनतेरस की रात नारायण सिंह का परिवार नई स्कूटी खरीदने की खुशी में घर पर पार्टी कर रहा था। पड़ोसी माधोनाथ गिरी का परिवार भी पार्टी में शामिल था। इसी बीच माधोनाथ का बेटा कुंदन नाथ नशे की हालत में वहां पहुंच हंगामा काटने लगा था। साथ ही वह पार्टी कर रहे लोगों से मारपीट पर भी उतारू हो गया था। नशे में धुत कुंदन ने पड़ोसी नारायण सिंह के घर के भीतर कुंडी लगाकर रसोई में गैस सिलेंडर खोलकर आग लगा दी थी। वह खुद बुरी तरह झुलसते हुए बाहर भागा, जिसे बचाने में दोनों परिवारों के 11 लोग बुरी तरह से झुलस गए थे। बुधवार रात उपचार के दौरान 45 वर्षीय मुन्नी देवी पत्नी नारायण गिरी, उनके बेटे 25 वर्षीय जीवन गिरी और 24 वर्षीय विनोद गिरी पुत्र नारायण व आरोपी कुंदन नाथ की मां 64 वर्षीय भगवती देवी की मौत हो गई है। अन्य लोगों का हायर सेंटर में उपचार चल रहा है।
रास नहीं आई पड़ोसी की खुशी
बागेश्वर के रणकुंणी गांव के दो परिवारों की खुशी गम में तब्दील हो गई है। घटना के दिन पीड़ित परिवार स्कूटी लाने की खुशी मना रहा था। आरोपी कुंदन का परिवार भी उनकी खुशी में शरीक होने पहुंचा था। नशे में धुत कुंदन को पड़ोसी की खुशी कतई रास नहीं आई। नशे में आपा खोए कुंदन ने रसोई सिलेंडर को ब्लास्ट कर पड़ोसी का घर ही फूंक डाला। उस घटना में 11 लोग घायल हुए थे, जिनमें से मां और उनके दो बेटों सहित चार लोगों की मौत हो गई है। दीपावली पर घर को रोशन करने की तैयारी में जुटे दो हंसते खेलते परिवारों के घरों में हमेशा के लिए गम और दुख का अंधेरा छा गया है।
शराब का आदी था कुंदन
अग्निकांड को अंजाम देने वाला कुंदन नाथ शराब का आदी था। शराब पीकर वह अपना आपा खो देता था। 29 अक्तूबर को नारायण का परिवार नई स्कूटी लेकर आया था। शाम को वह इसकी खुशी मना रहे थे। कार्यक्रम में माधोनाथ, नारायण गिरी के परिवार के अलावा आस-पड़ोस के लोग भी शामिल हुए। पड़ोसी की खुशी की जलन में कुंदन ने उनके घर को आग के हवाले कर डाला था। वह शराब के नशे में धुत होकर वहां पहुंच गया और सबसे अभद्रता करने लगा। ये देख उसके पिता वहां से अपने घर आ गए, जबकि पड़ोस की एक महिला अपने दो बच्चों को लेकर किनारे हो गई। वहां मौजूद लोगों ने कुंदन को समझाने की कोशिश की लेकिन वह नारायण के घर में घुस गया और सिलेंडर का पाइप खोलकर उसमें आग लगा दी। इस हादसे में दो परिवारों के चार लोगों की मौत हो गई।